NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।

NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।

NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।

नमस्कार पाठको  NOR गेट एक ऐसा गेट है जो दो गेट्स OR तथा NOT गेट्स से मिलकर बना होता है।ओर आज की पोस्ट में हम NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि जानेंगे। NOR गेट को हम ट्रांजिस्टर और डायोड सर्किट के द्वारा समंझ सकते है।

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NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।

NOR लॉजिक– OR तथा NOT = NOR इसमे किसी एक या सभी इनपुट टर्मिनल्स पर इनपुट 1 होने पर आउटपुट 0 हो जाता है।इसके विपरीत सभी टर्मिनल्स पर इनपुट 0 होने पर आउटपुट 1 रहता है। NOR सर्किट प्रतीक तथा ट्रुथ टेबिल को हम चित्र में दिखाई है।

NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।
NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।

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ट्रांजिस्टर NOR सर्किट की व्याख्या– यह सर्किट OR सर्किट के लगभग समान है।अन्तर केवल यह है कि इसमें आउटपुट कलैक्टर से लिया गया है ।जैसा कि हम जानते है कलैक्टर से प्राप्त आउटपुट हमेशा इनपुट सिगनल के विपरीत फेज में होता है।अतः के इसी भी एक बेस पर पॉजिटिव पल्स देने पर आउटपुट में नेगेटिव पल्स प्राप्त होगी।इस प्रकार यदि सभी बेसेस पर इनपुट 0 है तो लोड रेसिस्टर RL के द्वारा कोई वोल्टेज ड्राप न होने के कारण +5V  का आउटपुट टर्मिनल Y परउपलब्ध होगा।

NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।
NOR लॉजिक गेट की कार्यविधि।



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इनके विपरीत किसी भी एक ट्रांजिस्टर के  बेस को माना +2V का पॉजिटिव पल्स दिया जाये तो आउटपुट में निगेटिव पल्स पैदा होगा और Y टर्मिनल पर जो पॉजिटिव वोल्टेज मिल रहा था वह शून्य हो जायेगा अर्थात इनपुट 1 तो आउटपुट 0 देखे ट्रुथ टेबल में।इसी प्रकार DTL (diode Tranaiator Logic ) सिर्किट भी NOR गेट का कार्य कर सकता है।

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